फुटबॉल में निरंतरता एक अहम शब्दावली है और इंडियन सुपर लीग (आईएसएल) फाइनल में रविवार को बेंगलुरू एफसी का सामना करते वक्त एफसी गोवा इसी निरंतरता को बनाए रखते हुए पहली बार इस लीग का खिताब अपने नाम करना चाहेगा. लीग स्तर पर दोनों टीमों अंकों के आधार पर बराबरी पर रही थीं, लेकिन लीग स्तर पर दो बार गोवा को हराने के कारण फाइनल में बेंगलुरू का पलड़ा भारी है. गोवा की टीम ने लीग में अब तक सबसे अधिक गोल किए हैं लेकिन इसके बावजूद वह बेंगलुरू के खिलाफ दो मैचों में सिर्फ एक गोल कर सकी है. बेंगलुरू ने उसके खिलाफ पांच गोल किए हैं. यह अलग बात है कि लीग स्तर पर बेंगलुरू की टीम हावी रही है लेकिन चाल्र्स कुआडार्ट के खिलाड़ियों को अच्छी तरह मालूम है कि लीग स्तर के परिणाम का फाइनल से कोई लेना-देना नहीं है. बीते सीजन में बेंगलुरू की टीम लीग स्तर पर लगभग अजेय रही थी लेकिन फाइनल में उसे चेन्नइयन एफसी के हाथों हार मिली थी. दूसरी ओर, सर्गियो लोबेरा की टीम भले ही लीग स्तर पर बेंगलुरू के आगे नहीं टिक सकी थी, लेकिन किसी के मन में इस बात को लेकर शंका नहीं है कि यह टीम अपने पर आ जाए तो किसी भी टीम को हरा सकती है.लोबेरा ने कहा-हमने बीते दो मैचों से काफी कुछ सीखा है. हमने जाना है कि हम कहां सही थे और कहां गलत. गोवा के पास मैच जिताऊ खिलाड़ियों की कोई कमी नहीं. फेरान कोरोमिनास और इदु बेदिया ने इस सीजन में शानदार साझेदारी दिखाई है और इस जोड़ी के नाम कुल 23 गोल और 12 एसिस्ट दर्ज हैं. इन दो स्पेनिश खिलाड़ियों के कारण गोवा की टीम आज फाइनल में है और इन्होंने कई मौकों पर मैदान पर करिश्माई प्रदर्शन किया है. बेदिया और कोरो में तकनीकी काबिलियत है और ये किसी भी टीम की रक्षापंक्ति को भेदने की क्षमता रखते हैं. इनके अलावा गोवा के पास अहमद जाहो जैसे खिलाड़ी है, जो मिडफील्ड में काफी सक्रिय रहता है और इस मोरक्कन खिलाड़ी में डिफेंस को सुरक्षित रखने की काबिलियत है. माउतोर्दा फाल सेंटर बैक में काफी अच्छा प्रदर्शन कर रहे हैं और उनके रहते गोवा के डिफेंस को भेदना मुश्किल होगा. गोवा के पास शानदार स्ट्राइकर हैं और इसी के दम पर वह बेंगलुरू को लगातार दूसरे साल खिताब से दूर रखते हुए अपने सिर आईएसएल के पांचवें सीजन का ताज सजाना चाहेगा.
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